CTET 2 Social and Science 22 Dec 2021 Paper

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Question Numbers: 129-135
निम्नलिखित गद्यांश को पढ़कर, पूछे गए प्रश्नों के सबसे उपयुक्त उत्तर वाले विकल्प चुनिए - 
राष्ट्रीय अस्मिता का अर्थ है उन लक्षणों और विशेषताओं का पहचान, जिनसे राष्ट्र का अपना एक स्वरुप बनता है, विश्व में उसकी अपनी अलग पहचान बनती है, वह एक स्वतंत्र, प्रभुत्व संपन्न राष्ट्र के रूप में प्रतिष्ठित होता है। इस पहचान से ही हमारे में में राष्ट्र के प्रति अपनत्व, प्रेम, निष्ठा और समर्पण की भावना पैदा होती है। हम धर्म, संप्रदाय, वर्ग, जाति, भाषा, क्षेत्र, आदि से परे एकजुट होकर राष्ट्रीय विकास के लिए प्रयत्नशील होते हैं। देश के किसी कोने में आई हुई विपत्ति मानकर वहाँ के लोगों की सहायता करते हैं। हम समस्त भारतवासी एक हैं, यह राष्ट्र हमारा है, इसके प्रति हमारा दायित्व है, इसके अस्तित्व और इसके अभ्युत्थान में ही हमारा अस्तित्व और कल्याण निहित है आदि मनोभाव ही राष्ट्रीय अस्मिता की पहचान के आधार हैं। संक्षेप में, राष्ट्रीय अस्मिता की पहचान और उसकी पोषक विषयवस्तु के अंतर्गत उल्लेखनीय है कि हमारा देश एक विशाल देश है। इसी कारण से इसे उपमहाद्वीप कहा जाता है। ऐसे विशाल देश में भौगोलिक विविधता एक स्वाभाविक बात है। दुर्गम उच्च शिखर वाले पर्वतीय क्षेत्र, पठारी भाग मैदानी भाग, रेगिस्तानी भाग आदि अनेक प्राकृतिक भू-रचना देखने को मिलती है। जलवायु की विविधता, आजीविका के साधनों की विविधता और रहन-सहन की विविधता। किंतु इन विविधताओं के रहे हुए भी भारत एक भौगोलिक इकाई रहा है। यहाँ तक कि समय-समय पर अनेक राजनैतिक सत्ताओं में विभक्त रहने पर भी धार्मिक और सांस्कृतिक विचारों, संस्कारों और आस्थाओं ने इसे एक सूत्र में बाँधे रखा है। उत्तर के हिमालय, पूर्व, दक्षिण और पश्चिम के सागरों ने इसे एक भौगोलिक इकाई के रूप में सीमांकित किए रखा है। जब भी हमारे शास्त्रों, महाकाव्यों आदि में भौगोलिक सीमा और विस्तार की बात हुई है, कश्मीर से कन्याकुमारी और कच्छ से अरुणाचल तक भारत को एक भौगोलिक इकाई के रूप में वर्णित किया गया है।
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