'कालीदास' गुप्त युग (चंद्रगुप्त- II ) के महान रचनाकार हुए, इन्हें 'भारत का शेक्सपीयर' भी कहा जाता है। इन्होंने कुल-7 ग्रंथों का प्रणयन किया- रघुवंश, कुमारसंभव , मेघदूत , ऋतुसंहार , मालविकाग्नि मित्र, विक्रमोर्वशीय तथा अभिज्ञानशाकुन्तलम्'। 'अभिज्ञानशाकुन्तलम्' इनकी सर्वश्रेष्ठ रचना है जो कई भाषाओं में अनुदित है। 'मृच्छकटिकम' साहित्यिक कृति गुप्तयुगीन साहित्यकार 'शूद्रक' की है। इस ग्रंथ से गुप्त काल के सांस्कृतिक इतिहास की जानकारी प्राप्त होती है।