वेद भारत के प्राचीनतम ज्ञात साहित्य है। वेद संस्कृत में रचे गये तथा एक पीढ़ी से दूसरी पीढ़ी को मौखिक रूप से संप्रेषित होते रहे। वेद शब्द का अर्थ है 'ज्ञान'। वेदों के संकलनकर्ता कृष्ण द्वैपायन वेदव्यास को माना गया है। वेदों से ही हमें आर्यों के विषय में प्रारंभिक जानकारी मिलती हैं। वेदों की संख्या चार है- ऋग्वेद, सामवेद, यजुर्वेद एवं अथर्ववेद। इन चारों वेदों को संहिता कहा जाता है। इनमें ऋग्वेद, सामवेद तथा यजुर्वेद के सम्मिलित संग्रह को वेदत्रयी कहा जाता है। चारों वेदों में से प्रत्येक के एक-एक उपवेद भी हैं। ऋग्वेद दुनिया का पहला लिखित साहित्यिक ग्रंथ है तथा चारों वेदों में सर्वाधिक प्राचीन है। ऋग्वेद से आर्यों की राजनीतिक प्रणाली एवं इतिहास के विषय में जानकारी प्राप्त होती है। इस वेद में कुल 10 मण्डल, 8 अष्टक, 1028 सूक्त एवं 10462 श्लोक ( ऋचाएँ) हैं। इसमें बालखिल्य सूक्त, जिनकी संख्या 11 है, भी शामिल है। ऋग्वेद में दूसरे से लेकर सातवें मण्ड़ल तक की ऋचाएँ सर्वाधिक प्राचीन है, जबकि पहला एवं दसवां मण्डल अंत में जोड़ा गया है।